01 May, 2025
वैश्विक व्यापार सांख्यिकी एवं परिदृश्य 2025
Mon 21 Apr, 2025
संदर्भ :
विश्व व्यापार संगठन (WTO) द्वारा जारी वैश्विक व्यापार सांख्यिकी एवं परिदृश्य (Global Trade Outlook and Statistics 2025) रिपोर्ट में कहा गया है कि 2025 में वैश्विक माल व्यापार (Merchandise Trade) में 0.2% की गिरावट आने की संभावना है। यह अनुमान दुनिया में बढ़ती टैरिफ़ बाधाएं, व्यापार युद्ध और वैश्विक मंदी के चलते लगाया गया है।
मुख्य बिंदु:
संकेतक | 2024 | 2025 (पूर्वानुमान) |
वैश्विक माल व्यापार वृद्धि | +2.9% | –0.2% |
टैरिफ वृद्धि के साथ संभावित गिरावट | — | –1.5% तक |
वैश्विक सेवाओं व्यापार वृद्धि | +6.8% | +4.0% |
उत्तरी अमेरिका निर्यात गिरावट | — | –12.6% |
एशिया निर्यात वृद्धि | — | +1.6% |
यूरोप निर्यात वृद्धि | — | +1.0% |
गिरावट के प्रमुख कारण
1. व्यापार युद्ध और टैरिफ तनाव:
- अमेरिका और चीन के बीच व्यापार तनाव ने व्यापार में विश्वास को प्रभावित किया है।
- अमेरिकी टैरिफ फिर से लागू होने से वैश्विक व्यापार में 0.6% अंकों की गिरावट हो सकती है।
- चीन पर बढ़ते अमेरिकी शुल्क से अतिरिक्त 0.8% अंकों की गिरावट संभव।
2. सेवाओं पर प्रभाव:
- माल व्यापार में गिरावट से यातायात और यात्रा सेवाओं पर असर पड़ेगा।
- निवेश आधारित सेवाएं भी मंदी के चलते प्रभावित होंगी।
3. आर्थिक अस्थिरता और विभाजन:
- विश्व में बढ़ती भूराजनीतिक अस्थिरता और आर्थिक विभाजन निवेशकों के लिए जोखिम बढ़ा रही है।
भारत की वैश्विक व्यापार में स्थिति (2024)
श्रेणी | वैश्विक रैंक | व्यापार में भागीदारी |
माल निर्यात (Merchandise Export) | 14वाँ | 2.2% |
माल आयात (Merchandise Import) | 7वाँ | 3.4% |
सेवा निर्यात (Services Export) | 6वाँ | 5.3% (5.4% से कम) |
सेवा आयात (Services Import) | 6वाँ | 4.1% (4.2% से कम) |
निष्कर्ष: भारत की रैंक में गिरावट आई है लेकिन वैश्विक व्यापार में भागीदारी स्थिर बनी हुई है, जो भारत की व्यापारिक लचीलापन (trade resilience) को दर्शाता है।
भारत और कम विकसित देशों के लिए अवसर
- अमेरिका-चीन व्यापार संघर्ष से व्यापार विचलन (Trade Diversion) की संभावना बढ़ी है:
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- चीन के निर्यात उत्तरी अमेरिका के बाहर 4–9% तक बढ़ सकते हैं।
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- भारत और LDCs उस स्थान को भर सकते हैं जहाँ अमेरिका चीन से आयात कम करेगा।
- भारत को निर्यात बढ़ाने, FTA पर ध्यान केंद्रित करने, और Make in India जैसी योजनाओं पर निवेश बढ़ाना चाहिए।
UNCTAD के बारे में
बिंदु | विवरण |
पूरा नाम | संयुक्त राष्ट्र व्यापार और विकास सम्मेलन (UNCTAD) |
स्थापना वर्ष | 1964 |
मुख्यालय | जिनेवा, स्विट्ज़रलैंड |
मातृ संगठन | संयुक्त राष्ट्र महासभा |
सदस्य देश | 195 देश |
प्रमुख रिपोर्टें | ट्रेड एंड डेवलपमेंट रिपोर्ट, वर्ल्ड इन्वेस्टमेंट रिपोर्ट, डिजिटल इकोनॉमी रिपोर्ट आदि |
वर्तमान महासचिव | रेबेका ग्रीनस्पैन (2025 तक) |